महाराष्ट्र : निर्दलीय विधायक विनोद अग्रवाल के भाजपा में शामिल होने की खबर अधिकृत तौर पर अभी स्पष्ट नहीं हो पा रही हैं। मीडिया सूत्रों की माने तो वे संभवतः बाहर से ही भाजपा को समर्थन दे सकते है, हालांकि ये बात भी अभी अस्पष्ट है। सामान्यतः जब किसी भी जगह राजनैतिक अस्थिरता का वातावरण निर्मित होता है तो अनेक प्रकार की अफवाहे उड़ती है, खासकर प्रदेश की राजनीति में विधायकों के समर्थन और विरोध को लेकर। यदि महाराष्ट्र के ताज़ा राजनैतिक हालातो पर नज़र डाली जाए तो कोई भी निर्दलीय विधायक बाहर से सपोर्ट देने की बात को प्राथमिकता देगा बशर्ते शामिल होने के बजाये, क्योकि राजनैतिक विशेषज्ञों की माने तो, दूसरी पार्टी में शामिल होने की स्थिति में विधायक की सदस्यता पर भी खतरे की सम्भावना बन सकती है।
दूसरी ओर प्रदेश के CM उद्धव ठाकरे के बयान काफी संतुलित नज़र आ रहे है और जिस प्रकार संजय राउत अभी प्रदेश में सत्ता के प्रति विश्वास के साथ अडिग नज़र आ रहे है उससे कही न कही ये समीकरण अभी चल रहा है कि उद्धव सरकार को किस प्रकार संकट से उबारा जा सके। मीडिया सूत्रों के अनुसार इसके लिए NCP के चीफ और वरिष्ठ नेता शरद पवार भी सक्रिय हैं।