मीडिया सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार, केंद्र शासित जम्मू कश्मीर प्रदेश विधानसभा का पहला बजट सत्र तीन मार्च 2025 को शुरू हो रहा है। उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने सत्र बुलाने की उद्घोषणा जारी कर दी है। विधानसभा सचिवालय ने भी सभी सदस्यों से सत्र के दौरान पूछे जाने वाले प्रश्नों के साथ उनके द्वारा लाए जाने वाले बिलों और प्रस्तावों की सूची भी जमा कराने को कहा है। छह साल बाद जम्मू कश्मीर विधानसभा का बजट सत्र होने जा रहा है। अंतिम बार फरवरी 2018 में जब जम्मू कश्मीर विधानसभा का बजट सत्र हुआ था, उस समय जम्मू कश्मीर एक पूर्ण राज्य था। 31 अक्टूबर 2019 को अस्तित्व में आए केंद्र शासित जम्मू कश्मीर प्रदेश विधानसभा का यह दूसरा और पहला बजट सत्र होने जा रहा है। इसमें जम्मू कश्मीर में सत्तासीन प्रदेश सरकार वर्ष 2025-26 के लिए वार्षिक बजट भी पेश करेगी। केंद्र शासित जम्मू कश्मीर में विधानसभा और एक निर्वाचित सरकार की अनुपस्थिति में 2019 से लेकर 2024 तक जम्मू कश्मीर का बजट संसद द्वारा ही पारित किया गया है।
मीडिया से प्राप्त जानकारी के अनुसार, उल्लेखनीय है कि मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला के नेतृत्व में गत 20 जनवरी को हुई प्रदेश कैबिनेट की बैठक में बजट सत्र तीन मार्च को बुलाने का प्रस्ताव पारित हुआ था। केबिनेट ने प्रस्ताव को अंतिम मंजूरी के लिए उपराज्यपाल के पास भेजा था और उन्होंने चार दिन पहले इस प्रस्ताव का अनुमाेदन कर दिया था। अलबत्ता, उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने सत्र बुलाने की उद्घोषणा 30 जनवरी की देर शाम गए जारी की। इसमें कहा गया है, ‘मैं, मनोज सिन्हा, केंद्र शासित प्रदेश जम्मू और कश्मीर के उपराज्यपाल, जम्मू और कश्मीर पुनर्गठन अधिनियम, 2019 की धारा 18 (1) के तहत मुझे प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए, जम्मू और कश्मीर विधानसभा को सोमवार, 3 मार्च, 2025 को सुबह 10:00 बजे जम्मू में बैठक के लिए बुलाता हूं।’ विधानसभा के सचिव मनोज कुमार पंडित ने कहा कि स्पीकर अब्दुल रहीम राथर जल्द ही विधानसभा की बिजनेस एडवाइजरी कमेटी बीएसी की बैठक बुलाएंगे और उसमें ही बजट प्रस्तुत किए जाने की तिथि को तय किया जाएगा। उन्होंने बताया कि सदन के सभी सदस्यों को सूचित किया गया है कि वह सत्र के दौरान प्रश्नकाल की कार्यवाही में शामिल किए जाने के लिए अपने अपने प्रश्नों की सूची 10 फरवरी 2025 तक उपलब्ध करा दें। प्रत्येक सदस्य अधिकतम 10 तारांकित और 10 गैर-तारांकित प्रश्न ही पूछ सकता है। अगर कोई सदस्य सत्र के दौरान किसी मुद्दे पर अपना बिल लाना चाहता है तो उन्हें भी आवश्यक विवरण के साथ 10 फरवरी 2025 तक जमा कराना हाेगा। कोई भी सदस्य अधिकतम तीन ही बिल ला सकता है। इसी तरह कोई भी सदस्य अधिकतम चार प्रस्ताव पेश कर सकता है और प्रस्तावों को 16 फरवरी 2025 तक जमा कराया जा सकता है।
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