मीडिया सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार, राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ का कार्यालय झंडेवाला स्थित केशव कुंज में लौट आया है। कार्यालय के पुनर्निर्माण परियोजना लगभग पूरी हो चुकी है। यह 3.75 एकड़ से अधिक के परिसर में फैली हुई है, जिसमें तीन 13 मंजिला टावर और कुल मिलाकर लगभग 300 कमरे और कार्यालय है। इसमें आधुनिक सभागारों के साथ पुस्तकालय, चिकित्सालय व भोजनालय की भी व्यवस्था है। इसमें सरसंघचालक व सरकार्यवाह के कमरे निश्चित रहेंगे। सूत्रों के अनुसार, संघ के सरसंघचालक मोहन भागवत व सरकार्यवाह दत्तात्रेय होसबोले के 19 फरवरी को यहां दिल्ली इकाई के स्वयंसेवकों के साथ मिलन के साथ कार्यालय का अधिकाधिक शुभारंभ होगा। इसके निर्माण में आठ साल की अवधि लगी है। कोरोना महामारी व अनुमति संबंधित देरी के चलते निर्माण परियोजना पूरी होने में देरी हुई। इसके निर्माण में 150 करोड़ रुपये की लागत आई है, जिसे करीब 75 हजार लोगों ने दान दिया है। बता दें कि उक्त स्थान पर वर्ष 1939 से ही संघ का कार्यालय है। पहले यह छोटे से कमरे में था। फिर वर्ष 1962 में एक परिसर में आया। राष्ट्रीय राजधानी में होने के चलते महत्वपूर्णता व विस्तार की आवश्यकता के मद्देनजर वर्ष 2016 में इसके पुनर्निर्माण की प्रक्रिया शुरू हुई।
मीडिया से प्राप्त जानकारी के अनुसार, तब तक संघ की गतिविधि आरामबाग स्थित उदासीन आश्रम से संचालित होती रही। विशेष बात कि यह कार्यालय आधुनिक तकनीक व परंपरागत वास्तुशिल्प का अद्भूत मिश्रण है। ताकि इसे हवादार बनाया जा सके और पर्याप्त धूप मिले। जिसका डिजाइन गुजरात के वास्तुकार अनूप दवे ने तैयार किया है। तीन टावरों (भूतल और 12 मंजिल) का नाम साधना, प्रेरणा और अर्चना है, जबकि इसके सबसे बड़े सभागारों में से एक का नाम विश्व हिंदू परिषद के प्रमुख पदाधिकारी अशोक सिंघल के नाम पर रखा गया है, जो राम मंदिर आंदोलन से निकटता से जुड़े थे। सूत्रों ने बताया कि आरएसएस कार्यालय में एक पुस्तकालय, स्वास्थ्य क्लिनिक और सीवेज ट्रीटमेंट प्लांट के साथ ही पदाधिकारियों और प्रचारकों के लिए आवास की सुविधा है। इसकी कुल बिजली जरूरतों के एक हिस्से को पूरा करने के लिए इसमें सौर ऊर्जा सुविधाएं भी हैं। आगे जल संचयन की व्यवस्था के साथ संग्रहालय की भी व्यवस्था रहेगी। इमारत में एक हजार से अधिक चौखटों का निर्माण ग्रेनाइट से कर लकड़ी को बचाया गया है। इस कार्यालय में आरएसएस से जुड़े साप्ताहिक पत्रिकाओं पांचजन्य और आर्गनाइजर के साथ ही प्रकाशन कंपनी सुरुचि प्रकाशन तथा इतिहास संकलन का भी कार्यालय इसी परिसर में हाेगा। परिसर के पिछले भाग में खुले मैदान में संघ के संस्थापक सरसंघचालक डा केशव राव बलिराम हेडगवार की आदमकद प्रतिमा लगी है, जिसके सामने नियमित शाखा लगेगी। संघ की अखिल भारतीय प्रतिनिधि सभा की बैठक 21 मार्च से 23 मार्च तक बेंगलुरु में आयोजित होगी। संघ की सर्वोच्च निर्णय लेने वाली इस निकाय में संघ व और संबद्ध संगठनों के वरिष्ठ पदाधिकारियों सहित लगभग 1,500 लोगों की भागीदारी होती है। इस बैठक में संगठनात्मक मामलों के साथ ही प्रमुख प्रासंगिक मुद्दों पर चर्चा होती है और कई मामलों पर प्रस्ताव पारित किए जाते हैं।
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