प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज दिल्ली में 9वें जी20 संसदीय अध्यक्ष शिखर सम्मेलन (पी20) का उद्घाटन किया। इसकी थीम ‘एक पृथ्वी, एक परिवार, एक भविष्य के लिए संसद’ रखी गई है। कार्यक्रम में 25 देशों के प्रिजाइडिंग ऑफिसर और G20 सदस्य देशों के 10 डिप्टी स्पीकर शामिल हुए। मीडिया की माने तो, इससे पहले लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने दिल्ली में 9वें जी20 संसदीय अध्यक्ष शिखर सम्मेलन (पी20) में प्रतिनिधियों का स्वागत किया।

सूत्रों से प्राप्त जानकारी के अनुसार, कार्यक्रम को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि – P20 समिट, उस भारत-भूमि पर हो रही है, जो मदर ऑफ डेमोक्रेसी है। यह समिट एक प्रकार से दुनिया भर की संसदीय प्रथाओं का महाकुंभ है। प्रधानमंत्री ने कहा- आतंकवाद को लेकर हम सभी को सख्ती बरतनी होगी। आतंकवाद की परिभाषा को लेकर आम सहमति ना बन पाना बहुत दुखद है। 9वें G20 संसदीय अध्यक्ष शिखर सम्मेलन (P20) में, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि भारत ने संसद और राज्य विधानसभाओं में महिलाओं को 33% आरक्षण प्रदान करने का निर्णय लिया है। भारत में स्थानीय स्व-शासन संस्थानों में लगभग 32 लाख निर्वाचित प्रतिनिधि हैं। इनमें से लगभग 50% महिला प्रतिनिधि हैं। भारत आज हर क्षेत्र में महिलाओं की भागीदारी को बढ़ावा देता है। भारत में सैकड़ों भाषाएँ बोली जाती हैं। दिल्ली में नौवें पी20 शिखर सम्मेलन में पीएम मोदी ने कहा, भारत में आम चुनाव को सबसे बड़ा त्योहार माना जाता है। आज़ादी के बाद से, भारत ने 17 आम चुनाव और 300 से अधिक राज्य विधानसभा चुनाव देखे हैं। भारत न सिर्फ सबसे बड़ा चुनाव कराता है बल्कि इसमें लोगों की भागीदारी भी लगातार बढ़ रही है। भारत में 2019 का आम चुनाव मानव इतिहास में सबसे बड़ा चुनाव अभ्यास था- इस अभ्यास में 600 मिलियन से अधिक मतदाताओं ने भाग लिया। 2019 के चुनाव में 70% मतदान भारत में संसदीय प्रथाओं में लोगों के विश्वास को दर्शाता है। 2019 में 600 से ज्यादा राजनीतिक दलों ने आम चुनाव में हिस्सा लिया।

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