भारत और सऊदी अरब ने इन्वेस्टमेंट पर हाई-लेवल टास्क फोर्स की पहली मीटिंग की

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भारत और सऊदी अरब ने इन्वेस्टमेंट पर की हाई-लेवल टास्क फोर्स की पहली मीटिंग
Image Source : aajtak.in

मीडिया सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार, भारत और सऊदी अरब ने रविवार को सार्वजनिक और निजी क्षेत्र में रिफाइनिंग और पेट्रोकेमिकल संयंत्रों, न्यू और रीन्यूएबल एनर्जी और बिजली सहित कई क्षेत्रों में द्विपक्षीय निवेश के कई मुद्दों पर चर्चा की। इस दौरान निवेश पर भारत-सऊदी अरब हाई लेवल टास्क फोर्स की पहली बैठक में पारस्परिक रूप से लाभकारी तरीके से दोतरफा इन्वेस्ट को बढ़ावा देने के उपायों की समीक्षा की गई। इसकी सह-अध्यक्षता प्रधानमंत्री के प्रधान सचिव पीके मिश्रा और सऊदी ऊर्जा मंत्री प्रिंस अब्दुलअजीज बिन सलमान बिन अब्दुलअजीज अल सऊद ने वर्चुअल मोड में की। प्रधानमंत्री ऑफिस की तरफ से जारी एक बयान में कहा गया कि दोनों पक्षों ने टास्क फोर्स की टेक्निकल टीमों के बीच हुई चर्चा की समीक्षा की। बयान में कहा गया कि पब्लिक और प्राइवेट सेक्टर में विभिन्न क्षेत्रों में द्विपक्षीय निवेश के विभिन्न अवसरों पर रचनात्मक चर्चा हुई, जिसमें रिफाइनिंग और पेट्रोकेमिकल संयंत्र, नवीन और नवीकरणीय ऊर्जा, बिजली, दूरसंचार, नवाचार आदि शामिल हैं।

मीडिया से प्राप्त जानकारी के अनुसार, भारत और सऊदी अरब के रिश्ते पिछले कुछ साल में काफी बेहतर हुए हैं। दोनों देशों ने रविवार (28 जुलाई 2024) को रिश्तों का एक और नया चैप्टर खोला। दरअसल, दोनों के बीच रविवार को रिफाइनिंग और पेट्रोकेमिकल प्लांट्स, न्यू और रिन्युएबल एनर्जी और बिजली सहित पब्लिक और प्राइवेट सेक्टरों में विविध क्षेत्रों में द्विपक्षीय निवेश के विभिन्न अवसरों पर चर्चा की गई। निवेश पर भारत-सऊदी अरब उच्च स्तरीय टास्क फोर्स की पहली बैठक में पारस्परिक रूप से लाभकारी तरीके से दोतरफा निवेश को बढ़ावा देने के उद्देश्य से उपायों की समीक्षा की गई। इसकी सह-अध्यक्षता प्रधानमंत्री के प्रधान सचिव पीके मिश्रा और सऊदी अरब के ऊर्जा मंत्री प्रिंस अब्दुलअजीज बिन सलमान बिन अब्दुलअजीज अल सऊद ने वर्चुअल मोड में की। प्रधानमंत्री कार्यालय की ओर से जारी एक बयान में कहा गया है कि दोनों पक्षों ने टास्क फोर्स की तकनीकी टीमों के बीच हुई चर्चाओं की समीक्षा की। इसके अलावा पब्लिक और प्राइवेट सेक्टर के अलग-अलग क्षेत्रों में द्विपक्षीय निवेश के विभिन्न अवसरों पर चर्चा हुई। जिसमें रिफाइनिंग और पेट्रोकेमिकल प्लांट्स, नई और नवीकरणीय ऊर्जा, बिजली, टेलिकम्यूनिकेशन, इनोवेशन आदि शामिल हैं। पीएमओ के बयान में कहा गया है कि दोनों पक्षों ने पारस्परिक रूप से लाभकारी तरीके से दोतरफा निवेश को बढ़ावा देने के उद्देश्य से उपायों की विस्तृत समीक्षा की। पीके मिश्रा ने सऊदी अरब के क्राउन प्रिंस और प्रधानमंत्री की यात्रा के दौरान प्रतिबद्ध 100 बिलियन अमेरिकी डॉलर के सऊदी निवेश को सक्रिय समर्थन प्रदान करने के लिए भारत सरकार के दृढ़ इरादे को दोहराया।

पीएमओ की ओर से दी गई सूचना में ये भी कहा गया है कि बैठक में दोनों पक्षों ने चर्चा को आगे बढ़ाने और विशिष्ट निवेशों पर एक समझौते पर पहुंचने के लिए दोनों देशों की टेक्निकल टीमों के बीच नियमित बातचीत को जरूरी बताया।  इसके अलावा ये भी तय हुआ कि सचिव पेट्रोलियम के नेतृत्व में एक डेलिगेशन तेल और गैस क्षेत्र में पारस्परिक रूप से लाभकारी निवेश पर फॉलोअप डिस्कशन के लिए सऊदी अरब का दौरा करेगा। बैठक में सऊदी अरब को भारत में सॉवरेन वेल्थ फंड पीआईएफ का एक कार्यालय स्थापित करने के लिए भी आमंत्रित किया गया। इसी बैठक में प्रधानमंत्री के प्रधान सचिव पीके मिश्रा ने उच्च स्तरीय टास्क फोर्स की बैठक के अगले दौर के लिए सऊदी अरब के ऊर्जा मंत्री को भारत आमंत्रित किया।

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