मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा- दिव्यांगजन की सेवा और कल्याण आंतरिक सुख का विषय है

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भोपाल: मीडिया सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार, मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा है कि दिव्यांगजन की सेवा और कल्याण आंतरिक सुख का विषय है। उनकी सेवा से प्राप्त अनुभव और अनुभूति अलौकिक है। दिव्यांगजन के साथ समरसता के व्यवहार को प्रोत्साहित करने के लिए समाज में उनके प्रति विद्यमान दृष्टिदोष को दूर करना आवश्यक है। प्रत्येक दिव्यांग व्यक्ति में कोई न कोई प्रतिभा अवश्य होती है, उसे चिन्हित कर निखारने और प्रोत्साहित करने से दिव्यांगजन की ऊर्जा का उपयोग समाज हित में किया जा सकता है। प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी की संवेदनशीलता के परिणामस्वरूप ही विकलांग जैसे कटु अनुभूति देने वाले शब्द को बदलकर दिव्यांग का सम्मानजनक संबोधन प्रदान किया गया। दिव्यांगता का सामना कर रहे व्यक्ति वास्तव में चुनौतियों को स्वीकार करने वाले सच्चे वीर हैं। उनकी सामर्थ्य को स्वीकारना और सम्मान देना समाज का दायित्व है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव अस्थि बाधित दिव्यांगजन को ई-साइकिल वितरित करने के बाद कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने समदृष्टि क्षमता विकास एवं अनुसंधान मंडल “सक्षम” की पहल पर भारत पेट्रोलियम कार्पोरेशन लिमिटेड (बीपीसीएल) के सहयोग से संचालनालय सामाजिक न्याय विभाग के सभागृह में आयोजित कार्यक्रम में ई-साइकिल वितरित की।

विश्व ब्रेल दिवस पर किया लुइस ब्रेल का स्मरण
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने दीप प्रज्ज्वलित कर कार्यक्रम का शुभारंभ किया। उन्होंने विश्व ब्रेल दिवस (4 जनवरी) के अवसर पर ब्रेल लिपि विकसित करने वाले लुइस ब्रेल के चित्र पर पुष्पांजलि अर्पित कर उनका स्मरण किया। इस अवसर पर दृष्टिबाधित बालिका कुमारी तान्या शर्मा ने सक्षम गान की भावपूर्ण प्रस्तुति दी। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कुमारी तान्या का पुष्प-गुच्छ भेंट कर अभिवादन किया। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने समाज-कल्याण एवं दिव्यांगजन सशक्तिकरण विभाग द्वारा संचालित योजनाओं और कार्यक्रमों पर ब्रेल लिपि में विकसित पुस्तक का विमोचन किया और समाजसेवियों का शॉल, श्रीफल तथा प्रशस्ति पत्र भेंट कर सम्मान भी किया। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने मंदसौर की कुमारी अनामिका सोलंकी, खंडवा की श्रीमती रजनी दशोरे, झाबुआ की सुश्री उषा गढ़वा सहित श्री ओम तिवारी, श्री सुखदेव आदि को प्रतीक स्वरूप ई-साइकिल वितरित की। प्रदेश के कुल 47 अस्थि बाधित दिव्यांगजन को ई-साइकिल वितरित की।

घर में व्हील चेयर और बाहर ट्राई साइकिल के रूप में उपयोग में आएगी ई-साइकिल
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि ब्रेल लिपि दृष्टि बाधित दिव्यांगजन के लिए यह बड़ी सौगात है। साथ ही कई देशों की सेनाओं द्वारा ब्रेल लिपि का उपयोग रात्रि में संदेशों के आदान-प्रदान के लिए भी किया जाता है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने इस अवसर पर वितरित की जा रही ई-साइकिल की सराहना की। उन्होंने कहा कि इन साइकिलों का उपयोग घर में व्हीलचेयर के रूप में करने के साथ ही घर के बाहर आने-जाने के लिए ट्राई साइकिल के रूप में भी किया जा सकता है। उन्होंने कहा कि दिव्यांगता से प्रभावित होने के बाद भी व्यक्तियों ने अपनी क्षमता और सामर्थ्य का उपयोग कर विभिन्न क्षेत्रों में महत्वपूर्ण योगदान दिए हैं। पौराणिक संदर्भ में अष्टावक्र, महान संगीतज्ञ स्व. रविंद्र जैन तथा धर्म आध्यात्म के क्षेत्र में स्वामी रामभद्राचार्य जी का उदाहरण विशेष रूप से उल्लेखनीय है।

दिव्यांगजन के लिए समाज में समरसता पूर्ण वातावरण निर्मित करने को समर्पित है संस्था सक्षम
कार्यक्रम में जानकारी दी गई कि “सक्षम”- समदृष्टि क्षमता विकास एवं अनुसंधान मंडल, दिव्यांगजन के सशक्तिकरण को समर्पित संस्था है, जिसकी स्थापना 2008 में नागपुर में हुई। दिव्यांग युवाओं-महिलाओं को रोजगार उपलब्ध कराने, उनके अधिकारों की रक्षा, खेल गतिविधियों में प्रोत्साहन, शोध तथा राज्य एवं राष्ट्रीय स्तर पर सेमिनार एवं परिचर्चा के माध्यम से दिव्यांगजन के लिए समाज में समरसता पूर्ण वातावरण निर्मित करना सक्षम संस्था का उद्देश्य है।

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News & Image Source: khabarmasala

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